मुजफ्फर हुसैन
रांची। राजधानी से लगभग 17 किमी दूर स्थित रातू थाना आम लाेगाें के लिए खतरे का सबब बन गया हैै। अमूमन थाना लाेगाें की सुरक्षा और सच का साथ देने के लिए होता है लेकिन रातू थाना था काे ना बनाने में लगा है। यह आरोप डकरा निवासी हरेंद्र कुमार सिंह की पत्नी जयंती देबी ने लगाया है। उन्होंने रातू थाना प्रभारी राम नारायण सिंह एवं अन्य पुलिसकर्मियों पर विधि विरूद्ध स्वयं एवं उनके परिवार संग मारपीट का आरोप लगाया है। साथ ही, रातू थाना प्रभारी राम नारायण सिंह समेत दोेषी पुलिस कर्मियों पर कड़ी कार्रवाई करने की मांग मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, दक्षिणी छोटानागपुर प्रमंडल के पुलिस महानिरीक्षक, पुलिस उप महानिरीक्षक एवं वरीय पुलिस अधीक्षक से की गई है। आवेदन की प्रतिलिपि झारखंड मुख्य सचिव अल्का तिवारी, डीजीपी अनुराग गुप्ता, उपायुक्त रांची मंंजूनाथ भजंत्री को दी गई है और मामले पर संज्ञान लेने का आग्रह किया है। इधर, थाना प्रभारी से पूछे जाने पर उन्हाेंने कहा जयंती देबी और उनके पति बीच चौराहे पर मारपीट कर रहे थे। पुलिसकर्मी द्वारा समझाये जाने पर उनका कॉलर पकड़ लिया। थाना लाए जाने पर पति से पूछताछ की जा रही थी तभी जयंती देबी एक महिला पुलिसकर्मी से भीड़ गई और देखते ही देखते सभी पुलिसकर्मियों संग अभद्र व्यवहार करने लगी। समझाये जाने पर भी उनका रवैया अक्रामकता का ही रहा।
काेयला तस्कर संग साठ-गांठ का आरोप
जयंती देबी ने रातू थाना प्रभारी राम नारायण सिंह पर कोयला तस्कर संग साठ-गांठ का आरोप लगाते हुए कहा है कि मुझ पर और मेरे पति समेत मेरेे बच्चों पर कोयला तस्कर के इशारों पर मारपीट की गई। थाना परिसर में हम सभी के साथ बारी-बारी से लाठी-डंडे से मारा-पीटा गया। पांच घंटे से अधिक थाना हाजत में बंद करके रखा गया। मुझे और पूरे परिवार को (पुत्र-पुत्री और पति समेत) गंदी-गंदी गालियां दी गई। मोबाईल छीन लिया गया। अंतत: शाम को पुन: पिटाई करके छाेड़ दिया गया। जयंती देबी ने कहा थाना प्रभारी कोयला तस्कर संग काेयला चोरी में लगे हैं। उन्हें आम लोगों की समस्या से कोई सरोकार नहीं है।
क्या है पूरा मामला
जयंती देवी ने अपने आवेदन में लिखा है वह 12 फरवरी 2025 को अपने पति एवं दोनों बच्चों (पुत्र-पुत्री) संग खलारी से अपनी पुत्री का डिग्री लेने अपने निजी वाहन से रांची वीमेंस कॉलेज आ रही थी। इसी क्रम में जैसे ही रातू काठी टांड़ चौक पहुंची, एक ट्रक JH02-U-4162 जिसमें कोयला लदा था ने उनकी गाड़ी को पीछे से टक्कर मार दी। घबराकर जब ये लोग गाड़ी से निकले तो ट्रक चालक उनके साथ बदतमीजी करने लगे। इसी बीच कुछ दूर पर मौजूद एक पुलिस पदाधिकारी जो बिना वर्दी के था ने उन लोगों संग गाली-गलौज करते हुए उनकी गाड़ी को थाना ले जाने की बात कही और उनको पैदल थाने आने को कहा। रातू थाना पहुंचने पर थाना प्रभारी राम नारायण सिंह ने उनके संग गाली-गलौज शुरू कर दी और बारी-बारी से उनको लाठी-डंडों से पीटने लगे। विरोध करने पर उन्हें व उनकी बेटी को गंदी-गंदी गाली देते हुए जबरन केस में फंसाने की धमकी दी। इतने पर थाना प्रभारी का गुस्सा शांत नहीं हुआ ताे उन्होंने थाना में मौजूद अन्य पुरुष एवं महिला पुलिस कर्मियों द्वारा उनलोगों की पिटाई कराई। इसके बाद थाना हाजत में बंद करवा दिया। लगभग 5 घंटे बितने के बाद जयंती देबी और उनके परिवार को छाेड़ा गया।
राम नारायण सिंह, रातू थाना प्रभारी
लॉ एंड ऑर्डर मेंटेन करना हम सब की जिम्मेवारी है। बीच सड़क पर दंपत्ती द्वारा मारपीट की जा रही थी। एक पुलिसकर्मी के समझाने पर भी उनका रवैया नहीं बदला। पूरा बाजार उनकी इस हरकत को देख रहा था। थाना परिसर में भी उनलोगों ने सभी पुलिसकर्मियों संग अभद्रता की। मेरे ऊपर लगे सभी आरोप निराधार हैं।
जयंती देबी, शिकायतकर्ता
ट्रक चालक नशे में था और हमारी गाड़ी काे टक्कर मार दिया। इस दौरान मेेरे पति उसकाेे समझाने गाड़ी से उतरे। ट्रक चालक पति संग मारपीट करने लगा। एक पुलिसकर्मी आया और मेेरे पति काे कॉलर पकड़कर उन्हें मारने लगा। थाना ले जाकर बिना पूछताछ किए गाली-गलौज की गई फिर सभी संग मारपीट की गई। पांच घंटे मेरे पति और 19 वर्षीय पुत्र को हाजत में भूखे-प्यासे रखा गया। शाम को जब छोड़ा गया ताे थाना प्रभारी समेत सभी पदाधिकारी एवं कर्मियों ने पैर पकड़कर जबरन माफी मंगवाई। इससे पूरा परिवार दहशत और आहत में है।

 
		
 
									 
					

