Ranci News : ऐतिहासिक जगन्नाथपुर मंदिर में रविवार को रथ यात्रा उत्सव पर भक्ति, श्रद्धा और संस्कृति का अनूठा संगम देखने को मिला। भगवान जगन्नाथ, बलराम और बहन सुभद्रा मौसीबाड़ी से भव्य रथ पर सवार होकर मुख्य मंदिर पहुंचे। भारी बारिश के बावजूद भक्तों की भीड़ में कोई कमी नहीं आई।
प्रशासन और आयोजन समिति ने सुरक्षा और यातायात के लिए विशेष इंतजाम किए थे। सुबह से ही मंदिर में श्रद्धालुओं का आना शुरू हो गया था। मंगल आरती के साथ दिन का शुभारंभ हुआ। मंदिर परिसर और उसके आसपास का इलाका भक्ति गीतों, भंडारों और भव्य सजावट से गूंज उठा।
नागपुरी, मुंडारी और अन्य स्थानीय भाषाओं में गीत-संगीत और नृत्य-नाटिका की प्रस्तुतियों ने श्रद्धालुओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। स्थानीय कलाकारों ने भगवान जगन्नाथ और देवी लक्ष्मी से जुड़ी कथाओं को जीवंत रूप में प्रस्तुत किया।
जैसे-जैसे शाम ढली, रथ खींचने की ललक और श्रद्धा का उत्साह बढ़ता गया। रथ की परिक्रमा, आरती और दीपदान में हजारों भक्त शामिल हुए। दीपों की रौशनी, मंदिर की सजावट और भक्ति संगीत ने वातावरण को भक्तिमय बना दिया।
रात तक मेले में बच्चों, परिवारों और श्रद्धालुओं की चहल-पहल बनी रही। हर किसी ने भगवान जगन्नाथ, बलराम और सुभद्रा के जयकारों के साथ मंगलकामनाएं मांगीं।