Koderma : जिला विधिक सेवा प्राधिकार, कोडरमा के तत्वावधान में शनिवार को व्यवहार न्यायालय परिसर में राष्ट्रीय लोक अदालत का सफल आयोजन किया गया। इस अवसर पर कोडरमा के प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश बालकृष्ण तिवारी ने लोक अदालत के महत्व पर कहा कि यह मंच त्वरित, सुलभ और किफायती न्याय प्रदान करने का एक प्रभावी साधन है। लोक अदालत की प्रक्रिया से न केवल समय और धन की बचत होती है बल्कि आम लोगों को न्यायिक प्रक्रिया में सहजता और भरोसा भी मिलता है। इस कार्यक्रम का आयोजन राज्य विधिक सेवा प्राधिकार, रांची के संरक्षण में किया गया। उद्घाटन समारोह को ज़ूम एप के माध्यम से कोडरमा न्यायमंडल के न्यायिक पदाधिकारी और यूट्यूब लिंक के ज़रिए पैनल अधिवक्ता, मध्यस्थ, पैरा लीगल वॉलंटियर्स सहित अन्य स्टेक होल्डर्स ने ऑनलाइन देखा।
9 बेंचों के माध्यम से 9003 मामलों का निपटारा
इस राष्ट्रीय लोक अदालत में कुल 9 बेंचों के माध्यम से 9003 मामलों का निपटारा किया गया, जिनमें 1503 लंबित वाद और 7500 प्री-लिटिगेशन मामले (मुख्यतः बैंक ऋण एवं अन्य वित्तीय विवाद) शामिल थे। इस अदालत के माध्यम से कुल 6 करोड़ 83 लाख 34 हजार 744 रुपये की राजस्व वसूली की गई, जो न्यायिक प्रयासों की सफलता का प्रतीक है।
इस मौके पर मुंसिफ मिथिलेश कुमार, एलडीएम निवास कुमार, स्टेट बैंक कोडरमा शाखा के मुख्य प्रबंधक सियाराम यादव सहित वन विभाग, उत्पाद विभाग, विद्युत विभाग के पदाधिकारी एवं विभिन्न बैंकों के अधिकारी और कर्मचारी उपस्थित रहे। कार्यक्रम में न्यायालयकर्मी रणजीत कुमार सिंह, आशीष कुमार सिन्हा, मनोज मिश्रा, रविन्द्र कुमार, अनील कुमार सिंह, शम्भू शरण, प्रकाश चंद्रा, दीपक कुमार, प्रियंका कुमारी, रवि कुमार, अभिमन्यु कुमार सहित बड़ी संख्या में अधिवक्ता, पक्षकार एवं विभिन्न विभागों के प्रतिनिधि भी मौजूद थे।