लखनऊ: केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए गाजियाबाद में तैनात CGST विभाग के एक इंस्पेक्टर को रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया। यह मामला तब सामने आया जब शिकायतकर्ता ने CBI को बताया कि इंस्पेक्टर ने उससे 11 लाख रुपये की रिश्वत मांगी है। यह रिश्वत एक GST रिटर्न में ITC (इनपुट टैक्स क्रेडिट) से जुड़ी गड़बड़ी को नजरअंदाज करने के बदले मांगी गई थी। CBI द्वारा की गई इस छापेमारी के दौरान जब इंस्पेक्टर को पकड़ा गया, तो उसने मौके से फरार होने की कोशिश की। भागने के प्रयास में उसने अपनी कार को तेज रफ्तार से दौड़ाया और CBI की गाड़ी समेत कई अन्य वाहनों को टक्कर मार दी। यह पूरा घटनाक्रम बेहद नाटकीय रहा और इससे इलाके में अफरा-तफरी मच गई। CBI अधिकारियों ने बिना समय गंवाए आरोपी का पीछा शुरू किया। करीब दो किलोमीटर तक चले इस पीछा अभियान के बाद अंततः आरोपी को धर दबोचा गया। उसे मौके पर ही गिरफ्तार कर लिया गया और अब उससे आगे की पूछताछ की जा रही है।
CBI ने इस मामले में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज कर लिया है। प्रारंभिक जांच में पता चला है कि आरोपी इंस्पेक्टर पहले भी कुछ संदिग्ध मामलों में संलिप्त रह चुका है, जिसकी अब फिर से जांच की जा रही है। इस घटना ने सरकारी महकमे में भ्रष्टाचार को लेकर एक बार फिर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। सरकार और कर विभाग द्वारा लगातार पारदर्शिता और ईमानदारी की बात की जाती है, लेकिन ऐसे मामले लोगों का भरोसा तोड़ने वाले हैं। CBI की इस कार्रवाई से यह स्पष्ट संदेश गया है कि भ्रष्टाचार के खिलाफ सरकार और जांच एजेंसियां अब सख्त रुख अपना रही हैं। जनता से अपील की जा रही है कि वे भी ऐसे मामलों में आवाज उठाएं और बिना किसी डर के भ्रष्टाचार के खिलाफ शिकायत करें।