Wold News: बांग्लादेश में लंबे समय से जेल में बंद जमात-ए-इस्लामी के वरिष्ठ नेता एटीएम अजहरुल इस्लाम को आखिरकार 14 साल बाद रिहाई मिल गई। मंगलवार सुबह उन्हें ढाका सेंट्रल जेल से रिहा किया गया। रिहाई का आदेश सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को सुनाया था, जिसमें 1971 के मुक्ति संग्राम के दौरान मानवता के खिलाफ अपराधों से जुड़े सभी आरोपों से उन्हें मुक्त कर दिया गया।
कैसे हुई रिहाई:
ढाका स्थित केरानीगंज की केंद्रीय जेल से इस्लाम को रिहा किया गया, जहां वे 2010 से कैद थे। रिहाई की प्रक्रिया पूरी करने के बाद उन्हें बांग्लादेश मेडिकल यूनिवर्सिटी से सुबह 9:15 बजे बाहर लाया गया। जेल से निकलते ही इस्लाम ने शाहबाग चौराहे पर जमात-ए-इस्लामी नेताओं और समर्थकों के साथ रैली में हिस्सा लिया।
क्या बोले अजहरुल इस्लाम:
रिहाई के बाद मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा, “14 साल जेल में बिताने के बाद आज मुझे रिहाई मिली है। अब मैं एक आजाद देश का आजाद नागरिक हूं।” उन्होंने अपनी रिहाई के लिए सुप्रीम कोर्ट, वकीलों और उन सभी लोगों का आभार जताया जिन्होंने उनके लिए आवाज उठाई। साथ ही उन्होंने मांग की कि उन सभी जमात नेताओं की हिरासत के दौरान हुई मौतों की जांच हो और दोषियों को सजा दी जाए।
पिछला मामला और सुप्रीम कोर्ट का फैसला:
30 दिसंबर 2014 को अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण-1 ने एटीएम अजहरुल इस्लाम को मानवता के खिलाफ तीन मामलों में मौत की सजा और दो मामलों में आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। लेकिन 27 मई 2025 को सुप्रीम कोर्ट के अपीलीय प्रभाग ने इस फैसले को रद्द करते हुए कहा कि पूर्व में साक्ष्यों का सही मूल्यांकन नहीं किया गया था। अदालत ने अपनी गलती स्वीकारते हुए तत्काल रिहाई का आदेश दिया।
सुप्रीम कोर्ट ने जेल प्रशासन को निर्देश दिया कि यदि इस्लाम किसी और मामले में वांछित नहीं हैं तो उन्हें तुरंत रिहा किया जाए। इस आदेश के साथ एक बड़ा और लंबा कानूनी अध्याय समाप्त हो गया।

